हार्ट ब्लॉकेज क्या है, जानिए इसके घरेलू उपचार

कुछ लोगों को यह जन्मजात हो सकती है इसका कारण है कि गर्भ में शिशु के हृदय का विकास ठीक तरह से नहीं होता है। इसके अलावा जींस में बदलाव, हार्ट अटैक, धमनियों में रुकावट, हृदय की मांसपेशियों में सूजन और हार्ट फेलियर की वजह से भी हार्ट ब्लॉकेज हो सकता है।




आजकल की गलत जीवनशैली की वजह से दिल से जुड़ी बीमारियों का खतरा बहुत बढ़ गया है। हार्ट ब्लॉकेज भी दिल की एक बीमारी है, लेकिन यह कोरोनरी हार्ट डिसीज से अलग है, क्योंकि इसमें दिल की धड़कन सामान्य से धीमी हो जाती है, मरीज को सांस लेने में दिक्कत और घबराहट होने लगती हैं, लेकिन यह अचानक से गंभीर नहीं होता है। हेल्थ एक्सपर्ट्स के मुताबिक, यदि शुरुआत में ही यदि आप कुछ एहतियात बरतें और घरेलू उपाय आज़माएं तो हार्ट ब्लॉकेज की समस्या से बचा जा सकता है।


हार्ट ब्‍लॉकेज क्यों होता है?


चिकित्सकों के अनुसार, कुछ लोगों को यह जन्मजात हो सकती है इसका कारण है कि गर्भ में शिशु के हृदय का विकास ठीक तरह से नहीं होता है। इसके अलावा जींस में बदलाव, हार्ट अटैक, धमनियों में रुकावट, हृदय की मांसपेशियों में सूजन और हार्ट फेलियर की वजह से भी हार्ट ब्लॉकेज हो सकता है। कुछ मामलों में किसी दवा की वजह से भी हार्ट ब्‍लॉकेज हो सकता है।


हार्ट ब्‍लॉकेज होने पर निम्न लक्षण दिखते हैं


- दिल की धड़कन का धीमा होना या घबराहट होना


- सांस लेने में दिक्‍कत


- चक्कर आना


- सीने में दर्द


- शरीर में खून की सप्लाई ठीक तरह से नहीं होती


हार्ट ब्‍लॉकेज की समस्या दूर करने के घरेलू उपाय


अनार- रिसर्च के मुताबिक, हार्ट ब्लॉकेज की समस्या से बचने के लिए दिल के मरीजों को रोज़ाना एक कप अनार का जूस पीना चाहिए, इससे ब्लड फ्लो ठीक रहता है और ब्लड प्रेशर संतुलित रहता है। अनार में मौजूद पॉलीफेनोल्‍स शरीर में प्‍लाक जमने से रोकता है।


दालचीनी- हार्ट ब्लॉकेज के खतरे को कम करने के लिए दालचीनी का सेवन बहुत फायदेमंद माना जाता है। विशेषज्ञों के मुताबिक, यह बैड कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइड के लेवल को कम करता है। बैड कोलेस्टऑल हार्ट ब्लॉकेज और दिल संबंधी अन्य बीमारियों का कारण है।


लाल मिर्च- आपको जानकर शायद हैरानी होगी लाल मिर्च खाने से भी हार्ट ब्लॉकेज की समस्या कम हो सकती है। हेल्थ एक्सपर्ट्स के मुताबिक, लाल मिर्च में कैप्‍सेसिन नामक तत्‍व होता है जो बैड कोलेस्‍ट्रोल को कम करता है। इसके अलावा यह ब्‍लड प्रेशर घटाने, हाई कोलेस्‍ट्रोल और ब्लड क्लॉट बनने से भी रोकता है।


लहसुन- विशेषज्ञों के अनुसार, नियमित रूप से लहसुन खाने से शरीर से विषैली पदार्थ निकल जाते और यह कोलेस्ट्रॉल लेवल को भी नियंत्रित रखता है। लहसुन एंटीकोएगुलेंट गुण होता जो खून को पतला करता है। इसलिए हार्ट अटैक और स्‍ट्रोक को खतरे को कम करने के लिए भी लहसुन के सेवन की सलाह दी जाती है।


हल्‍दी- हल्दी में करक्‍यूमिन नामक तत्‍व होता है जो सूजन सूजन और खून के थक्‍के बनने से रोकता है। नियमित रूप से खाने में हल्‍दी का सेवन करने से हार्ट ब्‍लॉकेज की खतरा कम हो जाता है।


अलसी के बीज- इसे फ्लैक्स सीड भी कहते हैं। अलसी में ओमेगा-3 फैटी एसिड भरपूर मात्रा में पाया जाता है, जो दिल को स्वस्थ रखने में मददगार है।


इलायची- खाने का स्वाद और खुशबू बढ़ाने वाली छोटी इलायची को भी आर्युवेद में दिल को स्वस्थ रखने वाली बेहतरीन दवा बताया गया है। इसलिए इसे भी अपनी डायट में शामिल करें और दिल को स्वस्थ रखें।